एंटी चिट्टा वॉक थॉन: शिमला में चिट्टे के खिलाफ जागरूकता मुहिम की शुरुआत
शिमला : हिमाचल प्रदेश में चिट्टा के खिलाफ शनिवार को एक व्यापक जन अभियान की शुरुआत हुई। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने ऐतिहासिक रिज मैदान पर आयोजित एंटी-चिट्टा वॉकथॉन को हरी झंडी दिखाकर इस राज्यव्यापी मुहिम का आगाज़ किया। कार्यक्रम में भारी संख्या में लोगों ने भाग लिया। अगले तीन महीनों तक प्रदेश के सभी जिलों में इसी तरह के चिट्टा विरोधी वॉकथॉन आयोजित किए जाएंगे ताकि इसे जन आंदोलन का स्वरूप दिया जा सके।
वॉकथॉन रिज से चौड़ा मैदान तक निकाली गई, जिसमें राज्यपाल, मंत्रिमंडल के सदस्य, विधायक, प्रशासनिक अधिकारी, स्कूल-कॉलेजों के छात्र और समाजसेवी संगठनों के प्रतिनिधि शामिल हुए। इस दौरान रिज मैदान और सीटीओ चौक पर बच्चों ने ‘जुबा डांस’ प्रस्तुत कर चिट्टा सहित नशे से मुक्ति का संदेश दिया। हिमाचल पुलिस ऑर्केस्ट्रा की प्रस्तुति ने भी कार्यक्रम को ऊर्जा से भर दिया। आगे जिला और उपमंडल स्तरों पर भी इसी तरह जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।
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मुख्यमंत्री सुक्खू ने ‘भारत माता की जय’ के नारे के साथ लोगों को नशे से दूर रहने, परिवार और समाज को नशामुक्त बनाने तथा चिट्टा जैसी घातक बुराई का मिलकर मुकाबला करने की शपथ दिलाई। उन्होंने कहा कि सरकार अपनी जिम्मेदारियाँ निभा रही है, लेकिन चिट्टा के खात्मे के लिए समाज का हर वर्ग आगे आए। प्रदेश सरकार ने चिट्टा के मामलों पर जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई है।
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उन्होंने चेतावनी दी कि चिट्टा माफिया अपना काला कारोबार बंद कर दे, अन्यथा कठोर कार्रवाई के लिए तैयार रहे। नशे की तस्करी पर आजीवन कारावास और 10 लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा।
उन्होंने बताया कि शीघ्र ही 100 एंटी चिट्टा वॉलंटियर्स की भर्ती की जाएगी, जिन्हें प्रोत्साहन राशि भी दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि चिट्टा केवल जहर नहीं, बल्कि प्रदेश की आत्मा पर हमला है। यह जहर युवाओं के सपनों को खत्म कर रहा है, परिवार तोड़ रहा है और समाज की रगों को खोखला कर रहा है। चिट्टा न सिर्फ शरीर में उतरता है बल्कि आने वाली पीढ़ियों को भी तबाह करने लगता है।
