शिमला। नेता प्रतिपक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री ठाकुर जय राम ने जारी बयान में कहा कि सरकार अपने मंत्रियों के लिए करोड़ों रुपए का ऑफिस बना सकती है, लेकिन बच्चों की शिक्षा के लिए खोले गए स्कूल चलाने के लिए बजट न होने की दुहाई दे रही है। उन्होंने कहा कि सरकार के स्कूल बंद करने के फैसले की वजह से आज लाहौल की बड़ी आबादी सड़कों पर है जो सरकार से गुजारिश कर रही है कि ऐसे फैसले लेने से पहले सोच विचार करे। उन्होंने कहा कि अगर स्कूलों में एनरोलमेंट शून्य है तो सरकार को उसके कारणों का पता लगाना चाहिए। हर स्तर पर जवाब देही तय करनी चाहिए। लेकिन ऐसा ना करते हुए सरकार को स्कूल बंद करने में आनंद आ रहा है। लाहौल जैसी जगह में एक गांव से दूसरे गांव के बीच काफी दूरी है। इस वजह से स्कूली बच्चे दूसरे स्कूलों तक पहुंचने में असमर्थ हैं। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा की सरकार ने एक बार भी अभिभावक की तरह नहीं सोचा और आनन फानन में स्कूल बंद करने का फैसला ले लिया। मुख्यमंत्री जिस प्रकार से काम कर रहे हैं वह एक तानाशाही रवैया है। उन्होंने कहा कि केवल लाहौल ही नहीं डीनोटिफाई किए गए अधिकतर स्कूलों का यही हाल है। जिन स्कूलों से बच्चों को दूसरे स्कूलों में शिफ्ट किया जा रहा है, उन स्कूलों के छोटे बच्चों के लिए यह आसान नहीं है। नेता प्रतिपक्ष ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि एक तरफ सरकार कह रही है कि बजट नहीं है और दूसरी तरफ करोड़ों रुपए खर्च करके मंत्रियों और सीपीएस के दफ्तर बनाए जा रहे हैं। इसका यही मतलब है कि सरकार के पास पैसा सिर्फ स्कूल और अस्पताल चलाने के लिए नहीं है बल्कि मंत्रियों के लिए है। उन्होंने कहा कि सरकार स्कूल बंद करने के अपने फैसले से प्रभावित हो रहे छात्रों और उनके अभिभावकों का ख्याल रखते हुए अपने फैसले पर पुनर्विचार अवश्य करे।
Himachal News : सरकार मंत्रियों के लिए बना रही करोड़ों के ऑफिस, बच्चों की शिक्षा के लिए बने स्कूल कर रही बंद : जयराम ठाकुर
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